Wednesday, October 13, 2021

कलारिपट्टू विद्या

 कलारिपयाट्टू: दुनिया की सर्वश्रेष्ठ 10 मार्शल आर्ट में कलारी को इसलिए शामिल किया गया है, क्योंकि ये मार्शल ऑर्ट की जनक है। कलारी मास्टर बोधि धर्मन ने ही चीन जाकर कुंग फू को जन्म दिया। कलारी का अर्थ होता है युद्ध का मैदान और इसीलिए इस मार्शल आर्ट के बारे में यह कहा जाता है की यह किसी भी स्थिति में खेल नहीं है और न सिर्फ आत्मरक्षा की विधि है अपितु यह तो एक गंभीर युद्ध कला है जो सिर्फ जीत और जीत के लिए बनी है।


क्रव मागा (Krav Maga): क्रव मागा, दुनिया के सबसे बेहतरीन और श्रेष्ठ सेल्फ डिफेन्स टेक्निक्स में से एक है और इसका जनक लमी लीचटेनफील्ड (Imi Lichtenfeld) थे, दुनिया के बेहतरीन रेसलर, बॉक्सर और जिमनास्ट थे। लमी लीचटेनफील्ड ने क्रव मागा को क्यों बनाया इसकी भी बड़ी ही दिलचस्प कहानी है, साल 1930 के आसपास चेकोस्लोवाकिया देश में बहुत से यहूदी विरोधी ग्रुप थे जिनसे वहां का यहूदी समाज बुरी तरह से आतंकित था और उन्ही यहूदियों में से एक थे ‘लमी लीचटेनफील्ड’। लमी लीचटेनफील्ड ने अपने परिवार और मित्रों को सुरक्षित रखने के लिए एक यहूदियों का ग्रुप बनाया जो यहूदी समुदाय को बचाने के लिए वहां की गलियों में पहरा देने लगे और यही से जन्म हुआ ‘क्रव मागा’ का। जो बना ही गलियों, सडको की लड़ाई के लिए था और जिसकी वजह से यहूदी अपने विरोधियो से हमेशा ही एक कदम आगे रहे है। करव मागा को बस, ट्रेन, गली, सड़क, पार्क या कही भी तुरंत लड़ाई होने की दशा में जीत के लिए ही बनाया गया है और अपने आसपास हर वस्तु को हथियार की तरह प्रयोग करने सिखाये जाते है जिसमे एक ही समय में रक्षा और हमला दोनों शामिल होते है। क्रव मागा इजराइल का राष्ट्रीय मार्शल आर्ट है और इसे इस्राइली सेना और पुलिस प्रयोग करती है।


मुय थाई – किकबॉक्सिंग: मुएय थाई, थाईलैंड का राष्ट्रीय खेल है और यह दुनिया के सबसे घातक मार्शल आर्ट में भी शामिल है। इसे आठ अंगो का मार्शल आर्ट भी कहते है जिसमें कोहनी, मुट्ठी, घुटने और पैरो की पिंडलियां शामिल है। यह एक रफ़ टफ मार्शल आर्ट माना जाता है और थाईलैंड में पुराने जमाने में राजा के रक्षक ये मार्शल आर्ट ही सीखते थे और इसे दुनिया की सबसे अधिक घातक और तुरंत जान लेने वाली मार्शल आर्ट भी कहते है क्योकि इसमें शरीर के सबसे मजबूत अंगों का वार सबसे नाजुक अंगों पर किया जाता है। इसकी उपयोगिता इस बात से भी जाहिर होती है की अधिकतर मिक्स मार्शल आर्ट के खिलाडी लड़ाई के दौरान मुय थाई टेक्निक्स का ही प्रयोग करते हैं।


निन्जुत्सू: निन्जुत्सू मार्शल आर्ट सिखने वाले को ‘निंजा’ कहते है और कई फिल्म्स में आपने इनको देखा भी होगा। कुछ समय पहले तक यह दुनिया की सबसे रहस्यमयी मार्शल आर्ट्स में से एक थी। निंजा मार्शल आर्ट को जापानी इतिहास में हत्यारे और गुरिल्ला योद्धा सीखते थे और यही इसकी सबसे बड़ी काबिलियत भी है, ऐसा कहा जाता है की घने जंगली और सुनसान जगहों पर निन्जुत्सू ट्रेनिंग कुख्यात हत्यारों और गुरिल्ला योद्धाओ को दी जाती थी जो अंधेरे में छुप कर अचानक हमला करके दुश्मनों का काम तमाम कर देते थे। वास्तव में अन्य मार्शल की विपरीत निन्जुत्सू में हाथ-पैरों के अलावा छुपे हुए हथियारों जैसे तलवार, छोटे चाकू, फैकने वाले हथियार और कुछ तरह के केमिकल का प्रयोग भी सिखाया जाता है।


कुंग-फू: अगर कहा जाए की आज के समय का सबसे मशहूर मार्शल आर्ट शब्द ‘कुंग-फू’ है तो कोई गलत नहीं है। कुंग-फू एक चाइनीज मार्शल आर्ट है जिसका सरल शब्दों में अर्थ होता है ‘अपने से बड़े व शक्तिशाली पर विजय प्राप्त करना’। इस कला को भारतीय बौद्ध भिक्षु बोधिधर्मन ने किया था। सैकड़ो सालो तक यह युद्ध कला चीनी बोद्ध मठो में सिखाई जाती रही और ‘शाओलिन टेम्पल’ इस विद्या का प्रमुख केंद्र रहा और आज यह पूरी दुनिया में फेमस है।


कराटे: भारत में मार्शल आर्ट के लिए अगर कोई सबसे ज्यादा प्रयोग किये जाने वाला शब्द है तो वो है ‘कराटे’। कराटे एक जापानी शब्द है जिसका अर्थ है ‘खाली हाथ’। वास्तव में कराटे है एक ऐसा मार्शल आर्ट है जिसमें कोई हथियार प्रयोग नहीं किया जाता। पर सामने वाले को धराशाई कर दिया जाता है। कराटे में हाथ और पैर को ही तलवार को चाकू की तरह प्रयोग किया जाता है। इसे बेस्ट सेल्फ डिफेंसिव भी माना गया है।


विंग चुन (Wing Chun): विंग चुन मार्शल आर्ट का सबसे पहले एक बौद्ध भिक्षुणी नग मुई ने आविष्कार किया था और इस मार्शल आर्ट के सभी रक्षात्मक और आक्रामक स्टाइल इन्होंने पशु, पक्षी और कीट पतंगों से प्रेरित हो कर लिए थे। यही कहानी ‘इप मैन’ ने ‘ब्रुस ली’ को भी सुनाई थी। आज के समय में विंग चुन के फाइटर्स दुनिया के सबसे जाने-माने फाइटर्स है और विंग चुन की विशेषता यह भी की यह एक ही समय में अटैक और डिफेन्स दोनों सिखाता है। ये लड़ाइयों के दौरान जानलेवा साबित होता है।



ताईक्वान्डो: यह कला मूल रूप से कोरिया से निकली है और करीब 5,000 साल पुरानी मानी जाती है और यह भी कह सकते है की कोरिया और ताईक्वांडो साथ साथ ही विकसित हुए है। ताईक्वान्डो को इसकी तेज और घुमती हुई ऊंची किक की वजह से दुनिया की सबसे घातक मार्शल आर्ट में माना जाता है, और ताईक्वान्डो का अर्थ है किक और पंच (Tai का मतलब पैर और kwan का अर्थ मुट्ठी)। यह दुनिया का पहला ऐसा मार्शल आर्ट है जिसे ओलंपिक में जगह मिली हुई है।


जूजूत्सु (Jujutsu): जुसुत्सू, जापान की एक प्राचीन युद्ध कला है जिसका प्रयोग समुराई अपने हथियारहीन होने की दशा में करते थे। अन्य कलाओं के विपरीत जूजूत्सु में अपने प्रतिद्वंदी को पकड़ना, दूर फैकना और उसे काबू में करना है। जूजूत्सु एक विशेष मार्शल आर्ट्स इसीलिए भी है क्योकि इसमें अपने प्रतिद्वंदी के गुस्से और उसकी आक्रामकता का उसी के खिलाफ प्रयोग किया जाता है।


आत्मरक्षा व शौर्य प्रणाली- रंजन तिवारी

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